क्या SSP को बीजेपी नेताओं से उलझना पड़ा महंगा ? अचानक हुए ट्रांसफर से खड़े हुए सवाल

0

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में क्या बीजेपी नेताओं से उलझना पुलिस कप्तान प्रभाकर चौधरी को भारी पड़ गया है? यह सवाल इसलिए उठ रहे हैं क्योंकि घटना के चंद रोज बाद अचानक प्रभाकर चौधरी का तबादला कर दिया गया है।

शहर के तेजतर्रार पुलिस अधिकारी का ट्रांसफर होना अब चर्चा का विषय बन गया है। लोग यही कह रहे हैं कि बीजेपी नेताओं पर हाथ डालना प्रभाकर चौधरी को महंगा पड़ गया है। कहने को तो यह रूटीन ट्रांसफर हो सकता है लेकिन सूत्रों के हवाले से जो खबर मिल रही उसके मुताबिक इस तबादले को सजा के तौर पर देखा जा रहा है।

BJP नेताओं के आंखों में चुभने लगे थे SSP-

आईपीएस प्रभाकर चौधरी की गिनती यूपी के तेजतर्रार पुलिस अधिकारियों में होती है। यही कारण है की योगी सरकार ने उन्हें वाराणसी जैसे महत्वपूर्ण जिले में कानून व्यवस्था संभालने का जिम्मा दिया। प्रभाकर चौधरी ने जिले की कमान संभालते ही पुलिस महकमे में जारी ट्रांसफर पोस्टिंग और वसूली के धंधे को तरीके से समाप्त कर दिया।

यही नहीं उनके कार्यकाल में कोई पुलिस वाला किसी भी तरह के संदिग्ध मामले में शामिल पाया गया तो उसे तत्काल सजा दी गई। सिर्फ 8 महीने के ही कार्यकाल में तरीके से उन्होंने वसूली के नेक्सेस को तोड़ दिया। इसी बीच प्रभाकर चौधरी की सख्ती के शिकार बीजेपी नेता भी हो गये।

बीजेपी जिला महामंत्री को पहुंचाया हवालात-

पिछले दिनों लंका इलाके में पुलिस और बीजेपी पदाधिकारी और जिला पंचायत सदस्य के परिजनों के बीच में जमकर बवाल हुआ था। आरोप लगा कि बीजेपी नेता के परिजनों ने पुलिस के साथ हाथापाई की। जिसके बाद बीजेपी नेताओं के खिलाफ पुलिस ने गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज कर जेल भेज दिया। हालांकि कोर्ट में पुलिस के आरोप कुछ घंटे भी नहीं टिक पाए और बीजेपी नेताओं को जमानत मिल गई।

इस घटना ने एक नया रूप ले लिया है। बीजेपी नेताओं ने एसएसपी पर दबाव डाला तो वो अड़ गये। हालांकि आला अधिकारियों के आदेश पर उन्होंने सीओ भेलूपुर, लंका एसओ और सुन्दरपुर चौकी इंचार्ज के खिलाफ कारवाई जरुर की लेकिन तब तक बात आगे निकल चुकी थी। बीजेपी के स्थानीय पदाधिकारियों ने एसएसपी के खिलाफ मोर्चा दिया। आरोप था की पुलिस कप्तान बीजेपी नेताओं की अनदेखी करते हैं।

लंका मामले में भी गलती पुलिस की होने के बावजूद सजा बीजेपी नेताओं को दी गई। लिहाजा घटना के बाद बीजेपी के नेताओं से शिकायत की गई थी।

यह भी पढ़ें: CAA के खिलाफ प्रदर्शन करने वालों के खिलाफ पुलिस सख्त, चौराहों पर लगे पोस्टर

यह भी पढ़ें: एक्शन में आये एसएसपी, अवैध खनन में शामिल दारोगा को किया सस्पेंड

[better-ads type=”banner” banner=”104009″ campaign=”none” count=”2″ columns=”1″ orderby=”rand” order=”ASC” align=”center” show-caption=”1″][/better-ads]

(अन्य खबरों के लिए हमें फेसबुक पर ज्वॉइन करें। आप हमें ट्विटर पर भी फॉलो कर सकते हैं। अगर आप हेलो एप्पडेलीहंट या शेयरचैट इस्तेमाल करते हैं तो हमसे जुड़ें।)

Leave A Reply

This website uses cookies to improve your experience. We'll assume you're ok with this, but you can opt-out if you wish. AcceptRead More